Just In
- 8 hrs ago
26 जनवरी पर शिल्पा शेट्टी ने मनाया 15 अगस्त, स्वतंत्रता दिवस की बधाई देने पर जमकर TROLL
- 10 hrs ago
Pics: अलीबाग में शादी करने के बाद मुंबई वापस लौटे वरूण धवन और मिसेज़ नताशा दलाल धवन
- 15 hrs ago
26 जनवरी 2021 Pics: अबराम ने गाया हम होंगे कामयाब, सोहा की बेटी इनाया का प्यारा ट्रिब्यूट
- 16 hrs ago
विकी कौशल की सरदार ऊधम सिंह बायोपिक में भगत सिंह बनेंगे TVF ट्रिपलिंग एक्टर अमोल पाराशर
Don't Miss!
- News
Farmers Tractor Rally Row: कर्नाटक के मंत्री पाटिल ने किसानों को कहा आतंकवादी, भड़की कांग्रेस पहुंची पुलिस स्ट
- Sports
ISL-7 : नॉर्थईस्ट यूनाइटेड ने एटीके मोहन बागान को 2-1 से हराया
- Automobiles
2021 Tata Safari Unveiled: नई टाटा सफारी को भारत में किया गया पेश, जानें फीचर्स, इंजन, वैरिएंट की जानकारी
- Finance
भारतीय अर्थव्यवस्था : 2021 में होगी 7.3 % की बढ़ोतरी
- Lifestyle
डे आउटिंग के लिए एकदम परफेक्ट है कीर्ति का यह डेनिम लुक
- Education
Republic Day 2021 Speech: 72वें गणतंत्र दिवस पर राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद का भाषण
- Technology
OnePlus Nord का प्री-ऑर्डर अमेज़न पर 15 जून से होगी शुरू; इसको खरीदने वाले पहले बने
- Travel
ऐतिहासिक और धार्मिक स्थलों का संगम : पठानकोट
ख़ुद को साबित करने की दौड़ जारी: जॉन
फ़िल्म 'जिस्म' से अपने करियर की शुरुआत करने वाले मॉडल से अभिनेता बने जॉन अब्राहम की कमायाबी कम नहीं है पर वो कहते हैं कि ख़ुद को साबित करने की दौड़ हमेशा जारी रहती है. बिपाशा बासु के साथ अपने संबंधों को लेकर चर्चा में रहने वाले जॉन को जब बॉलीवुड में केवल देखने की चीज़ कहकर नकारा गया, तो उनके सामने एक ही विकल्प था कि वो कुछ ऐसा करें कि जो उन्हें सफल मॉडल के साथ ही एक सक्षम अभिनेता भी साबित करे.
बस क्या था, उन्होंने इसकी पहली झलक 'धूम' में नेगेटिव भूमिका से दी और उसके बाद दीपा मेहता की 'वाटर' जैसी समांतर सिनेमा की फ़िल्म से साबित कर दिया कि वे केवल जिस्म दिखाने वाले अभिनेता नहीं है. ज़िंदा, बाबुल, नो स्मोकिंग, टैक्सी 9211 और दोस्ताना के बाद अब उनकी कुछ ऐसी फ़िल्में भी आ रही हैं जिनमें वे अपनी छवि से अलग ही दिखाई नहीं देंगे, बल्कि अपने समकालीन अभिनेताओं के लिए भी चिंता का विषय बन गए हैं.
पिछले दिनों वे डाईट पेप्सी और गार्नियर जैसे मशहूर उत्पादों के ब्रांड एंबेसडर बनने के मामले में भी सबसे आगे रहे और इन दिनों वे युवाओं में सबसे चहेते चेहरों में एक हैं. उनसे हुई लंबी बातचीत के मुख्य अंश:
हमारे यहाँ मॉडलिंग से अभिनय में आए लोगों को लेकर एक विशेष पूर्वाग्रह रहता है?
इसमें कोई कुछ नहीं कर सकता. समय के साथ चीज़ें बदल जाती हैं. अब हर बड़ा कलाकार मॉडलिंग करता है. मैंने तो बाक़ायदा नमित कपूर के यहाँ से अभिनय भी सीखा है. यह लोगों के नज़रिए की बात है.
विज्ञापनों की दुनिया में नंबर एक बनने के पीछे आपका कौन सा नज़रिया काम काम कर रहा है? आप कभी चुनावों में वोट देने की वकालत करते हैं और कभी जानवरों के लिए काम करते हैं?
लोग मुझे प्रेम करते हैं और मैं उनके सम्मान के लिए उनसे जुड़े रहने का प्रयास करता हूँ. विज्ञापनों की दुनिया बाज़ार से जुडी है. उन्हें वर्तमान समय का बिकाऊ चेहरा चाहिए. जहाँ तक चुनावों की बात है तो किसी सरकार से शिकायत करने से ज़्यादा बेहतर है, उसे बदल देना और इसके लिए वोट देने से अच्छा कोई मौक़ा नहीं.
इस समय आपको फ़िल्मों में जो अवसर मिल रहे हैं, उनके बारे में क्या सोचते हैं. दोस्ताना के साथ आप नागेश कूकनूर की आशाएं जैसी विषयक फ़िल्में भी करते हैं और डेविड धवन की हूक या क्रूक जैसी व्यावसायिक फ़िल्में भी?
यह तो फ़िल्म इंडस्ट्री का विश्वास है जो मुझे ऐसे मौक़े मिल रहे हैं और लोग मुझे मेरी फ़िल्मों में पसंद करते हैं.
बॉलीवुड ही नहीं हॉलीवुड में भी आप जैसे अभिनेताओं को केवल देखने की चीज़ ही माना जाता है?
मेरे अपने प्रोडक्शन हाउस की एक फ़िल्म है, 1:800 लव. मैंने अब्बास टायरवाला के साथ फ़िल्म निर्माण की शुरुआत की है. इसमें जब लोग जॉन को देखेंगे तो पहचान नहीं पाएंगे. इसके लिए मैंने विशेष अभिनय, संवाद अदायगी और बॉडी लैंग्वुएज की कार्यशालाएं की हैं. नागेश कूकनूर की आशाएं में भी यही है. अब मैं अभिनय के बारे में बात करने के लिए कुछ भी कर सकता हूँ. मेरा मानना है कि ख़ुद को साबित करने की दौड़ हमेशा जारी रहती है. ज़िंदगी संघर्षों का नाम है.
तो क्या करियर का संघर्ष अब ख़त्म हो गया?
नहीं, पढ़ाई करते समय मैं अर्थशास्त्र पढता था. लेकिन मीडिया एंटरटेंमेंट कंपनी में काम करते हुए ग्लैडरैग में हिस्सा लिया. कुछ नहीं पता था. पहले सिंगापुर गया और फिर नमित कपूर के यहाँ चला गया. इरादा ऐक्टिंग सीखने का था, पर यहाँ तक पहुँचने का अंदाजा नहीं था. अब इसे बनाए रखने के लिए संघर्ष चल रहा है. लोग मुझसे जो उम्मीद करते हैं बस उनपर खरा उतरना है.
लोग जब आपके और बिपाशा के बारे में बात करते हैं तो कैसा लगता है?
कोई फ़र्क़ नहीं पड़ता. लोगों को किसी के बारे में कोई भी बात कह देने की आदत पड़ गई है. बस जब लोग किसी का नाम किसी के साथ जोड़ देते हैं तो यह नहीं सोचते कि इससे उन लोगों के संबंध ख़राब हो सकते हैं.
आप एक बार फिर अनुराग कश्यप के साथ जुड़ रहे हैं और ख़बर है कि ऐंडी आर्मस्ट्रांग की फ़िल्म भी कर रहे हैं?
मैंने अनुराग के साथ नो स्मोकिंग की थी. एक और फ़िल्म मुंबई वेलवेट पर बात चल रही है. यह 60 के दशक की कहानी कहती है, पर ऐंडी से मेरी कोई बात नहीं हुई है. उनकी फ़िल्म अमेरिकन एम्पायर की चर्चा मैंने भी सुनी है.
सुना है भंसाली की चेनाब गाँधी के साथ दोस्ताना पार्ट टू?
चेनाब गाँधी के लिए मैंने कभी किसी से बात नहीं की, बस एक बार बिपाशा के साथ उनसे मिला ज़रूर था, लेकिन दोस्ताना के सीक्वेल का हिस्सा होना मेरे लिए बड़ी बात होगी.
अब आप आने वाली किन फ़िल्मों के हिस्से होंगे?
डेविड धवन की हुक या क्रुक आने वाली है. इसके अलावा न्यूयार्क, आशाएं, फ़िल्म सिटी, 1:800 लव और एक ऐनीमेशन फ़िल्म अलीबाबा चालीस चोर के लिए वायस ओवर किया है.